खंडवा। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) प्रमुख मोहन भागवत ने शुक्रवार सुबह साढ़े सात बजे ओंकारेश्वर में भगवान ओंकारेश्वर-ममलेश्वर ज्योतिर्लिंग दर्शन और माँ नर्मदा का पूजन व अभिषेक किया।
कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच यहां करीब 10 मिनट रुक कर उन्होंने पूजा अर्चना की।
मंदिर ट्रस्ट के व्यवस्थापक पं. आशीष दीक्षित ने बताया कि दर्शन के बाद श्रीजी मंदिर ट्रस्ट के ट्रस्टों द्वारा उन्हें भगवान ओंकारेश्वर की तस्वीर भेंट कर स्वागत किया गया।
इस दौरान मंदिर में आम श्रद्धालुओं का प्रवेश रोक दिया गया था। इसके बाद निरंजनी अखाड़ा पहुंचकर उन्होंने हवन में आहुतियां दी।
सुबह 10:30 बजे श्री श्री रविशंकर के आश्रम में माँ नर्मदा की स्वच्छता, पवित्रता को लेकर विभिन्न संस्थाओं के पदाधिकारी स्वयंसेवकों से मोहन भागवत ने चर्चा की।
बता दे कि संघ प्रमुख सरसंघचालक मोहन भागवत खंडवा के दो दिवसीय निजी प्रवास पर गुरुवार शाम ओंकारेश्वर पहुंचे यहां से ओंकार पर्वत स्थित एकात्म धाम पहुंचकर उन्होंने आदिगुरु शंकराचार्य की 108 फीट ऊंची प्रतिमा के दर्शन किए। प्रतिमा लोकार्पण के बाद काम में शिथिलता को देखते हुए उन्होंने सिंहस्थ 2028 तक प्रोजेक्ट को पूरा होने की मंशा भी जताई। पूरे प्रोजेक्ट की जानकारी लेने के साथ ही उन्होंने आदि गुरु शंकराचार्य की 11 फीट ऊंची प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित की।
मोहन भागवत ने रात्रि विश्राम बिलोरा खुर्द स्थित श्री श्री रविशंकर के आश्रम में किया। ओंकारेश्वर पहुंचने पर संघ प्रमुख भागवत की अगवानी आचार्य महामंडलेश्वर विवेकानंद पुरी महाराज और स्वामी भूमानंद सरस्वती ने की। इस मौके पर संघ के भैया जोशी, गोपाल कृष्ण, माखन सिंह सहित संघ के कई पदाधिकारी मौजूद रहे। जेड सुरक्षा के चलते तीर्थनगरी में सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं।